एक था राजू, एक था काजू दोनों पक्के यार, इक दूजे के थामे बाजू जा पहुँचे बाजार!...
बात की बात खुराफत की खुराफात, बेरिया का पत्ता सवा सत्रह हाथ,...
किताबें करती हैं बातें बीते जमानों की दुनिया की, इंसानों की आज की कल की...
नीतू का था पिल्ला एक, बदन पे उसके रुएँ अनेक। छोटी टाँगें लंबी पूँछ भूरी दाढ़ी काली मूँछ।...