वेखो नी कर गया माही ।
लै दे के दिल हो गया राही ।
अंमां झिड़के बाबल मारे, ताअने देंदे वीर प्यारे,
मैं जेही बुरी बुरिआर वे लोका, मैनूं देवो ओते वल त्राही ।
वेखो नी कर गया माही आ बूहे ते नाद वजाइआ, अकल फ़िकर सभ चा गवाया,
अल्ल्हा दी सहुं अल्ल्हा जाणे, हस्सद्यां गल विच पै गई फाही ।
वेखो नी कर गया माही ।
रहु इश्का की करें अखाड़े, शाह मनसूर सूली 'ते चाढ़े,
आन बनी जद नाल असाडे, बुल्ल्हे मूंह तों लोई लाही ।
वेखो नी कर गया माही ।
लै दे के दिल हो गया राही ।