सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
हरि हर दे विच्च समाइओ ई ।
अनाअहद दा गीत सुणाइओ,
अना अहमद हूं फिर फरमाइओ,
अनाअरब बे ऐन बताइओ,
फिर नाम रसूल धराइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
फसुमावजउल अल्ल्हाहू नूर तेरा,
हर हर के बीच ज़हूर तेरा,
है अलइनसान मज़कूर तेरा,
एथे आपना सिर्र लोकाइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
तूं आइउं ते मैं ना आई,
गंज मख़फ़ी दी तैं मुरली बजाई,
आख अलस्सत गवाही चाही,
ओथे कालाबूला सुणाययो ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
परगट हो कर नूर सदाइओ,
अहमद तों मौजूद कराइओ,
नाबूदों कर बूद दिखलाइओ,
फ़नफ़ख़तोफ़ी ही सुणाइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
नाहनअकरब लिख दित्तोई,
हूवामअकुम सबक दित्तोई,
वफ़ियनफ़ुसकुम हुकम कीतोई,
फिर केहा घुंघट पाइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
भर के वहदत जाम पिलाइओ,
मनसूर नूं मसत कराइओ,
उस तों अनुलहक्क आप कहाइओ,
फिर सूली पकड़ चढ़ाइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
घुंघट खोल्ह जमाल विखाइआ,
शैख जुनैद कमाल सदाइआ,
लैशाफ़ीजन्नेती हाल बणाइआ,
अशरफ इनसान बणाइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
वलकदकरमना याद कराइओ,
ला इल्लाहा दा परदा लाइओ,
इल्लअल्ल्हाहू कहो झाती पाइओ,
फिर बुल्ल्हा (भुल्ला) नाम धराइओ ई ।
सईयो हुन मैं साजन पाइओ ई ।
हरि हर दे विच्च समाइओ ई ।