हम घूम आए शहर
गाड़ी ठहराने के लिए जगह खोजते-खोजते हम घूम आये शहर : बीमे की क़िस्तें चुकाते बीत गयी ज़िन्दगी। अतीत से कट गये चढ़ा कर फूल चन्दन। अब जिस में जीते हैं उस से मिले तो क्या मिले? खीसें निपोरता किताबी अभिनन्दन?

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