गुलाबों का दरिया
जिए हम गुलाबों का दरिया, महकता-मचलता लिये हम। बनाए वसंती-नवेली को अपना, हृदय से लगाए, हवा के सुरीले स्वरों में समाए, सितारों की आंखों से हम मुस्कराए, जिए हम गुलाबों का दरिया, महकता-मचलता लिए हम।

Read Next